हेलो दोस्तों आज हम बात करेंगे ऐसी बुक समरी के बारे में जो आपका पूरा जीवन बदल सकता है, जो आपको भीड़ से अलग कर सकता है, और जो आपको सफलता का एक सही रास्ता दिखा सकता है उस बुक समरी का नाम है द 8th हैबिट, इस बुक समरी की सहायता से आप अपनी क्रिएटिविटी से को बाहर ला सकते हैं और आप सीखेंगे की बिजनेस को बड़ा करने का तरीका क्या होता है, तो चलिए इस बुक समरी को शुरू करते हैं – The 8th Habit Book Summary
Book Summary: The 8th Habit Book Summary written by Stephen R. Covey
The 8th Habit Book Summary Book Summary in Hindi
द 8th हैबिट बुक समरी किन लोगों के लिए है?
द 8th हैबिट बुक समरी उन लोगों के लिए है जो कोशिश करने पर भी कामयाबी हासिल नहीं कर पा रहे हैं और उन लोगों के लिए है जो अपने कर्मचारियों के अंदर की क्रिएटिविटी को बाहर लाना चाहते हैं और ऐसे लोगों के लिए है यह बुक समरी जो अपनी कंपनी को आगे ले जाना चाहते हैं और अपने बिजनेस को बड़ा करना चाहते हैं। तो चलिए इस बुक समरी को शुरू करते हैं।
यह किताब आपको क्यों पढ़नी चाहिए?
हम में से हर कोई सोचता है कि काश मैं भी दूसरों की तरह कामयाबी हासिल कर सकता। कुछ लोगों का मानना है की चाहे कितनी भी कोशिश कर ले उन्हें कभी अच्छे परिणाम नहीं मिलते और अगर आपके साथ ऐसा है तो आपको 8वीं आदत अपनाने की जरूरत है।
अपने अंदर की आवाज को सुनना और उसके हिसाब से काम करना ही आठवी आदत है। अगर आप दूसरों के हिसाब से काम करते हैं तो आप अपनी जरूरतो और अपने काम करने के तरीकों के बारे में नहीं जान पाएंगे। यही वजह है कि आप बार-बार नाकामयाब हो रहे हैं।
यह किताब आपको बताती है कि किस तरह से आप अपने अंदर की आवाज को सुन सकते हैं और कैसे अपने आप को कामयाब बना सकते हैं।
समय के साथ बदलना जरूरी है।
अक्सर लोग बहुत मेहनत करने के बाद भी हार जाया करते हैं वह इसके लिए किस्मत को दोष देते हैं और सोचते हैं कि सफलता उनके लिए नहीं बनाई गई है। ऐसे में गलती ना तो सफलता का है और ना ही उनकी किस्मत का, गलती उनके काम करने के तरीके में है।
आज हम इंफॉर्मेशन की दुनिया में जी रहे हैं, इस दुनिया में बहुत तेजी से बदलाव आ रहे हैं। जो लोग इस जमाने में नए आइडियाज लेकर आ रहे हैं वे लोग सफल हो रहे हैं। लेकिन जो लोग पुराने तरीके अपना रहे हैं वह हमेशा ही नाकामयाब होते हैं।
इंफॉर्मेशन की दुनिया इंडस्ट्री की दुनिया की वारिस है, यहां अगर आप अपने अंदर की काबिलियत बाहर ना लाकर किसी दूसरे के तरीके से या किसी पुराने तरीके के हिसाब से काम करेंगे तो आप असफल हो जाएंगे। इसलिए जरूरी है कि आप अपने अंदर की क्रिएटिविटी को बाहर ले आइए। The 8th Habit Book Summary in Hindi
अगर आप कामयाब होना चाहते हैं तो आपको अपने अंदर की आवाज सुन्नी होगी। इसके अलावा आपको अपने कर्मचारियों के अंदर की क्रिएटिविटी को बाहर लाने की कोशिश करनी चाहिए ।
हम सभी के पास आजादी है जो हमारी सबसे बड़ी ताकत है।
कुछ लोग अपने रोज के काम और अपनी जरूरतों में इतने उलझे हुए हैं कि वे भूल जाते हैं कि उनके पास आजादी की ताकत है। उनके पास हर वह काम करने की आजादी है जो कानूनी तौर पर सही है। लेकिन फिर भी कुछ लोग इसका इस्तेमाल नहीं कर रहे हैं जिससे उनकी परेशानी बढ़ती जा रही है।
हम अपने हालात को काबू नहीं कर सकते लेकिन बुरे हालात में हम यह फैसला कर सकते हैं कि हमें क्या करना है। अगर कोई आप से बड़ा है आपसे बदतमीजी कर रहा है तो आप उसके खिलाफ कुछ कर सकते हैं। वह हिम्मत आपके अंदर छुपी हुई है और आप उसे बाहर लाने के लिए आजाद हैं। The 8th Habit Book Summary in Hindi
आजादी के अलावा हमें बुद्धि नाम की एक और ताकत मिली है जिसका इस्तेमाल हम पूरी तरह से नहीं कर रहे हैं। आजादी एक हद तक सीमित है लेकिन बुद्धि की कोई सीमा नहीं है। आप इसे बढ़ा सकते हैं आइए हम देखें कि बुद्धि कितनी प्रकार की होती है।
शारीरिक बुद्धि (Physical Intelligence) –
हमारे शरीर के उन कामों से ताल्लुक रखता है जो हमारे ध्यान दिए बगैर भी होते रहते हैं इसका एक उदाहरण है हमारा चलना।
मानसिक बुद्धि (Mentle Intelligence) –
हमारे सोचने समझने की क्षमता से मतलब रखता है इसकी मदद से हम अपने आसपास के चीजों और लोगों को समझ सकते हैं।
भावनात्मक बुद्धि (Emotional Intelligence) –
इमोशनल इंटेलिजेंस की मदद से हम सामने वाले की भावनाओं को समझ कर उसके हिसाब से काम कर पाते हैं। इससे हम नया दोस्त उनसे अच्छी बातें कर सकते हैं।
आध्यात्मिक बुद्धि (Spiritual Intelligence) –
स्पिरिचुअल इंटेलिजेंस दूसरी सारी इंटेलिजेंस की जड़ है, अगर आपकी आत्मा और आपकी इच्छा शक्ति मजबूत है तो आप आसानी से कोई भी काम कर सकते हैं या कोई भी नया काम सीख सकते हैं। यही वह इंटेलिजेंस है जिसकी मदद से हम अपने अंदर की आवाज सुन पाते हैं।
अगर आप अच्छे लीडर बनना चाहते हैं तो आपको दूसरों को मोटिवेट करना आना चाहिए।
स्कूल के दिनों में हम सभी का सामना कुछ ऐसे टीचर से हुआ होगा जो स्टूडेंट को अपने काबू में रखने की कोशिश करते हैं। इसके अलावा कुछ ऐसी टीचर्स से भी जान पहचान हुई होगी जो अपने बच्चों के साथ अच्छा व्यवहार करते थे उन सभी को प्यार करते थे।
मैनेजर और लीडर भी कुछ इसी तरह के होते हैं। कुछ मैनेजर अपने कर्मचारियों को काबू करने की कोशिश करते हैं और कुछ उन्हें काबिल बनाने की। अगर आप एक अच्छा लीडर बनना चाहते हैं तो आपको अपने कर्मचारियों को काबिल बनाने की कोशिश करनी होगी। इसके लिए आपको नीचे दिए गए काम करने होंगे। The 8th Habit Book Summary in Hindi
सबसे पहले आपको सोचना होगा कि आप अपने कर्मचारियों को जगाने के लिए और सही दिशा में लाने के लिए क्या करना होगा। फिर आप उस काम को सबसे पहले खुद कीजिए और और उन्हें एक एग्जांपल दीजिए जिससे वे आपकी तरह बनने की कोशिश करें। इसके बाद आप उनमें समय-समय पर जोश भरते रहिए जिससे वह अनुशासन मे रह सके।
इसके अलावा आपको अपनी कंपनी के अंदर 4 उन इंटेलिजेंस को भी डालना होगा। आप अपनी कंपनी को एक व्यक्ति मानकर चलिए जिसके पास एक शरीर है, शरीर के पूरी तरह से काम करने के लिए उसका हर एक भाग पूरी तरह से ठीक होना चाहिए।
अगर आपके शरीर और आपके दिमाग के बीच का संबंध अच्छा नहीं है अपने शरीर से अपने मन का काम नहीं करवा पाएंगे। इसलिए जरूरी है कि आप अपने कर्मचारियों को एक दूसरे से बात करने के लिए मोटिवेट करें।
हालात को बदलने का इंतजार मत कीजिए, उसे बदलने की कोशिश कीजिए।
घर में छुपकर बारिश थम जाने का इंतजार करना जिंदगी नहीं है, भीगने का मजा ले कर अपने काम पर जाना जिंदगी है।
मुश्किल हर वक्त आपके साथ रहेंगी, लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि आप अपने घर में छुप कर बुरे वक्त के गुजरने का इंतजार करें। आप हालात को काबू नहीं कर सकते पर अपने हालात को बदलने की कोशिश कर सकते हैं।
सबसे पहले आपको अपने काम की जिम्मेदारी उठानी होगी। आपको यह तय करना होगा कि चाहे कुछ भी हो आप वह काम करेंगे। कभी-कभी ऐसा हो सकता है की आप बेसहारा और कमजोर महसूस करें लेकिन उस हालात में भी आप कुछ ना कुछ जरूर कर सकते हैं।
मान लीजिए आपके बॉस आपके साथ अच्छा व्यवहार नहीं कर रहे हैं। आप अपनी नौकरी से हाथ नहीं धोना चाहते इसलिए आप उनके खराब व्यवहार के लिए कुछ भी नहीं कर रहे हैं। लेकिन इसके अलावा आप सीधे जाकर उनसे बात कर सकते हैं। इसके लिए आपको अपनी जिम्मेदारी उठानी होगी। आपको यह समझना होगा कि आपके पास हर वह ताकत है जिसे आप अपने हालात को बदल सकते हैं।
लेकिन कभी-कभी हालात हमारी काबू में बिल्कुल नहीं रहते और हम उन्हें सुधारने के लिए कुछ भी नहीं कर पाते। ऐसे में आपके पास आजादी है की आप अपना हौसला टूटने ना दें। मुश्किल वक्त से गुजरने के बाद आप और भी ताकतवर हो जाएंगे। लेकिन अगर आप हार मान लेंगे तो आप जहां हैं वहीं रह जाएंगे और आप कभी अपने हालात को नहीं बदल पाएंगे। The 8th Habit Book Summary in Hindi
अपने काम में कामयाबी हासिल करने के लिए आपको लोगों का भरोसा जीतना होगा।
कामयाबी हासिल करने के लिए जितना जरूरी आपका हुनर है उतना ही जरूरी दूसरों से आपके संबंध है। अगर आप दूसरों का भरोसा नहीं जीत पाएंगे तो आप शायद ही कामयाब हो सकेंगे, सबसे पहले आपको दूसरों का भरोसा जीतना आना चाहिए।
इसके लिए सबसे पहले आपको अपने वादों को पूरा करना होगा। अगर आप किसी से कोई काम करने के लिए कहते हैं तो कोशिश कीजिए कि आप अपने काम शिव सिंह खुश कर सकें। जब आप किसी से वादा करते हैं तो आप उसके अंदर एक आशा जगाते हैं। और जब आप वादा पूरा करते हैं तो आप उसका भरोसा जीत जाते हैं।
इसके बाद आप शब्दों का इस्तेमाल करना सीखिए आपको पता होना चाहिए कब आपको थैंक यू कहना है और कब आपको प्लीज कहना है। इससे लोग आपके बारे में अच्छा सोचेंगे। इसके अलावा आपको माफी मांगना भी आना चाहिए। अगर आप से अनजाने में कोई भूल हो जाती है तो माफी मांगने से खोया हुआ विश्वास कुछ हद तक लौट आता है। The 8th Habit Book Summary in Hindi
लेकिन आपको भी दूसरों पर भरोसा करना होगा। आप दूसरों पर भरोसा करेंगे तो उनकी काबिलियत पर भरोसा करेंगे और उनकी कामयाबी के लिए उनको मुबारकबाद देंगे। इससे वह भी आप पर भरोसा करने लगेंगे। भरोसे से आप अपने रिश्तो काफी मजबूत बना सकते हैं। अगर लोग आपके काम पर और आप पर भरोसा करेंगे तो इससे आपका काफी हद तक फायदा होगा।
समझौता करना कभी-कभी अच्छा होता है।
इस दुनिया में जितने तरह के लोग हैं उतनी तरह की सोच भी है। ऐसे में किसी से मतभेद होना आम बात है, हम सभी के लिए अलग-अलग बातें मायने रखते हैं और हम सभी अलग तरह से सोचते हैं। तो अगर आपका किसी से मतभेद तो आपको क्या करना चाहिए?
सबसे पहले आपको यह समझना होगा कि सामने वाला क्या सोच रहा है और उसके ऐसा सोचने की वजह क्या है। इसलिए आपको उसे सुनने की कोशिश करनी चाहिए। अगर आप ध्यान से उसकी बातों को सुने तो शायद आपको उसकी बात या उसका आईडिया अपने आइडिया से ज्यादा बेहतर लगे। या शायद आप दोनों आपस में बात करके कोई नया और ज्यादा बेहतर आइडिया सोच सके। लेकिन एक दूसरे से बहस करना समस्या का समाधान नहीं है। The 8th Habit Book Summary in Hindi
समझौता करने के लिए आपको सबसे पहले यह समझ लेना चाहिए कि मतभेद किस वजह से होती है -सोच में अंतर होना। तो अगर आप सामने वाले की आंखों से चीजों को देखने की कोशिश करेंगे तो आप उन्हें अच्छे से समझ पाएंगे। इसके अलावा अगर आप उसकी बात को सुनेंगे तो वह भी आपकी बात को सुनेगा और समझने की कोशिश करेगा।
जब आप दोनों लोग अपने अपने विचारों को एक दूसरे सामने रखेंगे तो आप समझ सकेंगे कि हालात के हिसाब से क्या बेहतर काम कर सकता है। इससे आप के फैसले पहले से बेहतर होंगे और आपके बीच का रिश्ता भी मजबूत होगा।
दूसरी तरफ अगर आप बहस करेंगे तो शायद उसका कोई नतीजा ना निकले। आप जबरदस्ती अपनी बात मनवाने की कोशिश करेंगे तो अच्छी बात नहीं है। इसके अलावा इससे आप के रिश्ते भी बिगड़ सकते हैं।
अपने कर्मचारियों को कंपनी के उसूलों के बारे में बताइए।
अगर आपकी कंपनी में कोई वसूल नहीं है तो आपकी कंपनी खतरे में है। सबसे पहले आपको अपने कर्मचारियों को अपने उसूलों के बारे में बताना होगा जिससे वह उन उसूलों के हिसाब से एक दिशा में काम कर सके।
ऐसे में यह आपका काम है कि आप सभी के साथ एक जैसा व्यवहार करें जिससे कोई अपने आपको किसी से कम ना समझे। आप अपने कर्मचारियों को उनके काम के लिए फीडबैक देते रहिए इसे एक दूसरे से मिलजुल कर काम करना सीख सकें और साथ ही अपने काम को भी बेहतर बना सकें। The 8th Habit Book Summary in Hindi
अगर आपके किसी कर्मचारी से कोई गलती हो जाती है तो आप उसे इसके लिए इसके लिए डाँटिए मत। उसे अपनी गलती सुधारने का एक मौका दीजिए और साथ में बताइए कि उसे अपना काम सुधारने के लिए क्या करना चाहिए। इसके लिए आप महीने में एक बार अपने कर्मचारियों के साथ मीटिंग बुला सकते हैं जिसमें आप अपने अच्छे कर्मचारियों की तारीफ कर उन्हें बढ़ावा दे सकते हैं और बाकी सब को बता सकते हैं कि वह अपने काम को और बेहतर कैसे बनाएं।
अपने कर्मचारियों को कुछ फैसले करने का अधिकार दीजिए।
ज्यादातर लोग अपने काम से खुश नहीं होते। इसलिए वे बेहतर तरीके से काम नहीं कर पाते और अच्छे नतीजे नहीं दे पाते हैं। एक लीडर का काम है कि वह इस समस्या से निपटने का काम करें।
सबसे पहले आपको इसी वजह जाननी होगी कि लोग अपने काम में खुश क्यों नहीं रहते। अक्सर ऐसा होता है कि सारे फैसले लीडर के हाथ में होते हैं और कर्मचारी को सिर्फ काम करने का हुक्म दिया जाता है। इससे कर्मचारी को लगने लगता है कि वह कोई नौकर है जिनसे कुछ पैसों के बदले में कोई भी काम कराया जाता है।
इसलिए आप अपने कर्मचारी को कुछ फैसले लेने का अधिकार दीजिए। इससे उन्हें लगेगा कि उनके पास कुछ आजादी है और कंपनी में उनके विचारों की भी कुछ अहमियत है। जब उन्हें लगेगा कि उनकी बात का महत्त्व है तो वे मोटिवेट होंगे और अच्छे से काम कर सकेंगे।
आप अपने कर्मचारी को आजादी दीजिए कि वह किसी काम को करने के लिए अलग-अलग तरीके अपना सकते हैं। फिर अंत में उन्हें जो तरीका अच्छा लगे वह उस तरीके से अपना काम कर सकते हैं। दूसरी तरफ अगर आप उन्हें अपने तरीके से काम करने को मजबूर करेंगे तो अंदर की प्रेरणा खत्म हो जाएगी और अच्छे से काम नहीं कर पाएंगे। The 8th Habit Book Summary in Hindi
इस तरह से काम करने पर आपके कर्मचारी अपने अंदर की आवाज को सुन पाएंगे और अपनी क्रिएटिविटी को बाहर ला पाएंगे। अगर आप उन्हें अपने काम के करने के तरीके के हिसाब से काम करने को मजबूर करेंगे तो उनके अपने तरीके मर जाएंगे। फिर वो एक रोबोट की तरह बन जाएंगे जो सिर्फ सिखाए गए तरीकों के हिसाब से काम करेंगे और कुछ नया नहीं सोच पाएंगे।
सारांश
अपने अंदर की आवाज पहचानना एक कला है जिसे हर कोई सीख सकता है। इसकी मदद से आप अपने अंदर की कला को बाहर ला सकते हैं। दूसरों का भरोसा जीत कर और दूसरों की बातों से उनके विचारों को समझ कर हम काफी हद तक अपना फायदा करा सकते हैं। अपने कर्मचारियों को थोड़ी आजादी और थोड़ी पावर दें। ऐसा करके हम उनके अंदर की आवाज को जगा कर अपनी कंपनी को नई ऊंचाइयों पर ले जा सकते हैं।
अपने कर्मचारियों को पावर दीजिए। एक लीडर होने के नाते आप का यह फर्ज बनता है कि आप अपने कर्मचारियों को पहले से बेहतर बनने के लिए हर काम करें । इसके लिए आप उन्हें फैसले लेने का हक दीजिए। आप उन्हें बेहतर तरीके से समझने की कोशिश कीजिए जिससे आप उन्हें समझ सके और अपनी कंपनी के लोगों के बीच अच्छे संबंध बना सकें। The 8th Habit Book Summary in Hindi
मुझे आशा है की आपको यह बुक समरी बहुत पसंद आयी होगी और आपको इससे कुछ नया सीखने को मिला होगा। तो अगर आपको लग रहा हो कि इस कंटेंट में बहुत वैल्यू हैं तो आप अपने दोस्तों और परिवारों के साथ जरूर शेयर करें। The 8th Habit Book Summary in Hindi
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